Category: स्वस्थ शरीर
By: Salan Khalkho | ☺2 min read
बच्चे को सुलाने के नायब तरीके - अपने बच्चे को सुलाने के लिए आप ने तरत तरह की कोशिशें की होंगी। जैसे की बच्चे को सुलाने के लिए उसको कार में कई चक्कर घुमाया होगा, या फिर शुन्य चैनल पे टीवी को स्टार्ट कर दिया होगा ताकि उसकी आवाज से बच्चा सो जाये। बच्चे को सुलाने का हर तरीका सही है - बशर्ते की वो तरीका सुरक्षित हो।
परी की तरह प्यारे, सोते हुए बच्चे कितने अच्छे लगते हैं। लेकिन कभी कभी इन्हे सुलाना आसान काम नहीं रहता है।
नवजात बच्चों को पहले कुछ महीने सुला पाना बेहद मुश्किल का रहता है।
ऐसा इस लिए क्योँकि वे दिन और रात में भेद करना नहीं जानते हैं। वो नहीं जानते हैं की रात में उन्हें सोना चाहिए और दिन मैं जागना चाहिए।
उनका पेट बहुत छोटा सा होता है, इसलिए वो थोड़ा-थोड़ा सा खाते हैं और हर थोड़ी थोड़ी देर में उन्हें भूख लगती है। इस लिए भी वे रात को जाग जाते हैं।
मगर एक बार जब वे जाग जाते हैं तो उन्हें सुलाना कभी कभी बहुत मुश्किल हो जाता है। हर माँ-बाप ऐसी परिस्थितियोँ से गुजर चुके हैं।
कई बार तो ऐसा होता है,
की आप बच्चे को घंटों गोद में लेकर बैठे हों और फिर भी आप का बच्चा नहीं सोया। क्या आप ऐसी स्थिति से गुजर चुकी हैं?
तो जरूर,
आप के मन में यह बात आयी होगी की क्या ऐसा करें की बच्चे को तुरंत नींद आ जाये। तो ये हैं बच्चे को तुरंत सुलाने का आसन तरीका:
हल्का गरम पानी और आप के हातों का प्यारा सा स्पर्श आप के बच्चे को आरामदायक स्थिति में ले आएगा। जब आप बच्चे को सुलाने की तयारी में उसे नेहला रहे हों तो अपनी आवाज धीमी रखें, उसे नहलाते वक्त कोई खिलौना खेलने को न दें।
अगर आप ने बच्चे को कोई खिलौना दया तो वो तुरंत active हो जाएगा और फिर उसे सुलाना बहुत मुश्किल होगा। इस समय जब आप उसे नेहला रहे हैं तो कोशिश करें की या उसके लिए केवल एक soothing experience भर रहे ताकि वो सोने वाली आरामदायक स्थिति में पहुँच जाये।
नहाने के बाद तो बड़ों को भी नींद आ जाती है, बच्चों को तो आएगी ही।
कुछ बच्चों को कार में बैठाते ही नींद आ जाती है। अगर आप ने गौर किया है की आप का बच्चा भी कार में सफर के दौरान सो जाता है तो जिस दिन आप का बच्चा सोने में काफी परेशानी महसूस कर रहा हो उसे उस दिन कार में बैठा के घर के आस-पास एक चक्कर घुमा दीजिये। सम्भावना है की आप का बच्चा कार का एक चक्कर पूरा होने से पहले ही सो जायेगा।
नवजात बच्चों का पेट छोटा होता है। इसीलिए बच्चे रात में कई बार उठ के रोते हैं क्यूंकि उन्हें भूख लगी होती है। अगर बच्चे को नींद लगी हो और वो सोने वाला हो तो उसे दूध पीला दें।
अगर बच्चे का पेट भरा रहेगा तो वो कुछ देर और सो लेगा। सोने से पहले बच्चे को इस तरह डच पिलाने की प्रक्रिया को अंग्रेजी में Dreamfeed कहते हैं। यह विश्व में काफी आजमाया हुआ नुस्खा है।
अगर आप ने बच्चे के लिए एक निश्चित bedtime निर्धारित कर दिया है तो आप का बच्चा कुछ दिनों में उस निर्धारित समय पे सोने के लिए अभ्यस्त हो जाएगा। शुरुआत के कुछ दिन परेशि वाले हो सकती हैं।
मगर जैसे ही बच्चे को उस निश्चित समय पे सोने का आदत पड़ जाये, आप के लिए सब कुछ आसान हो जायेगा।
बच्चे को सुलाने से पहले आरामदायक कपडे पहनाएं। मुलयमहालके और ढीले-ढाले कपड़ों में बच्चे को अच्छी नींद आएगी।
कुछ बच्चों को गाना सुनने पे वे आसानी से सो जाते हैं। अगर आप का बच्चा उनमें से एक है तो आप उसके लिए कमरे में कोई संगीत बजा सकते हैं।
संगीत ऐसा चुने जो मन को शांत करने वाला हो न की तड़क भड़क वाला, अन्यथा आप का बच्चा पूरी तरह जाग जायेगा। गाना बजाने एक और फायदा यह भी है की आस पास के शोर से बच्चा जागेगा नहीं।
क्योँकि आस पास का शोर, गाने की आवाज में कहीं दब के रह जायेगा।
बच्चों को कम तापमान में नीड आसानी से आ जाता है। मगर गरम तापमान में उन्हें सोने में परेशानी होती है। कमरे के तापमान को 65 and 70 degrees Fahrenheit के बीच में रखें।
इस तापमान में बच्चे को नींद जल्द ही आ जाएगी। गर्मी ज्यादा होने पे आप चाहें तो एक और टेबल फैन भी बच्चे के लिए लगा सकते हैं। बस ध्यान रहे की फैन बच्चे के पीट की तरफ हो ताकि हवा सीधे-सीधे उसके चहरे पे ना पड़े।
अगर आप का बच्चा दिन में एक छोटी नींद सोता है तो उसे सोने दें। इस आस में की अगर वो दिन भर जगा रहेगा तो रात को जल्दी सो जाएगा - यह सोच कर उसे दिन भर जगाये ना रखें।
जब बच्चा बहुत थक जाता है तो उसे सोने में दिकत आती है क्यूंकि अधिक देर जागने से बच्चे का शरीर stress hormone बनाता है तो बच्चे के नींद को ख़त्म कर देता है। जो बच्चे दिन में छोटी नींद सोते हैं, वे रात को भी अच्छी नींद सोते हैं।
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